Lucknow Kanpur Vande Bharat Metro
उत्तर प्रदेश लगातार उन्नति के पथ पर आगे बढ़ता हुआ दिखाई दे रहा है। चाहे प्रशासनिक कार्य हो फिर सड़कों और हाई-वे का निर्माण कार्य सभी को लेकर जमीनी स्तर पर हकीकते बयां हो रही है। इसी कड़ी में लखनऊ से कानपुर के बीच हाईस्पीड वंदे भारत मेट्रो ट्रेन को दौड़ाने का पूरा खाका तैयार कर लिया गया है। इसकी लागत के लिए 450 से 500 करोड़ रुपये खर्च की आशंका जताई जा रही है। इसका सीधा फायदा कानपुर रूट को फोरलेन बनाने के काम पर है। ट्रैक किनारे बैरिकेडिंग व सुरक्षा व्यवस्था से जुड़े अनेक काम कराए जाएंगे।
यह रहेगा रूट
दरअसल रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक 100 किमी. की दूरी वाले 2 शहरों के बीच वंदे भारत मेट्रो ट्रेन चलाने का ऐलान किया गया था। रेलवे बोर्ड अधिकारियों की माने तो पहले चरण में लखनऊ से कानपुर के बीच इसे संचालित करने की तैयारियां शुरू हो गई हैं। लखनऊ से कानपुर के बीच शुरू होने के बाद लखनऊ से वाराणसी, शाहजहांपुर, रायबरेली, गोरखपुर आदि रूटों पर भी इसे दौड़ाया जा सकता है। हालांकि, रेलवे अफसरों का कहना है कि इसमें समय लगेगा।
क्या-क्या होंगे काम
इस मेट्रो को लेकर अधिकारियों ने जो जानकारी साझा की है। उसके मुताबिक इसके प्रोजेक्ट पर तकरीबन 450 से 500 करोड़ रुपये की लागत आएगी। इसके संचालन के लिए लखनऊ-कानपुर के बीच 2 नई रेल लाइनें बिछाई जाएंगी। जिसका पूरा सेक्शन फोरलेन हो जाएगा। इसके रूट पर चलने वाले स्टेशनों को अत्याधुनिक बनाया जाएगा। ट्रैक किनारे बैरिकेडिंग की जाएगी और अत्याधुनिक सिग्नलिंग सिस्टम लगाए जाएंगे। सेक्शन पर मौजूद घुमावों व कॉशनों की संख्या में कमी आएगी। जिससे हाईस्पीड ट्रेन को चलाने में किसी तरह की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा। अधिकारियों के मुताबिक यह काम 3 से 4 चरणों में पूरा कर लिया जाएगा। जिसके लिए सबसे पहले फोरलेन के लिए सर्वे किया जाएगा।
45 मिनट में पूरा होगा सफर
वंदे भारत मेट्रो ट्रेन लखनऊ से कानपुर के बीच चलाई जाएगी। जो महज 45 मिनट से 1 घंटे के बीच सफर पूरा करवाएगी। इसके 8 कोच होंगे। ट्रेन तकरीबन 4 से 5 चक्कर लगाएगी। इनकी रफ्तार 125 से 130 किलोमीटर प्रति घंटे तक होगी।
राजस्थान के टेस्टिंग ट्रैक पर होगी जांच
वंदे भारत मेट्रो को बनाने का काम काफी तेजी के साथ पूरा होने वाला है। आशंका जताई जा रही है, कि दिसंबर तक यह प्रोजेक्ट पूरा हो जाएगा। हाईस्पीड ट्रेनों की टेस्टिंग राजस्थान के जोधपुर मंडल में टेस्टिंग ट्रैक बनाकर की जा रही है। इस ट्रैक पर 220 किमी. प्रति घंटे तक की रफ्तार से चलने वाली गाड़ियों की टेस्टिंग होगी।
ये फायदे होंगे
अधिकारियों ने जानकारी देते हुए यह भी बताया कि वंदे भारत मेट्रो चलने से नौकरी पेशा लोगों और छात्रों को आवाजाही में काफी आसानी होगी। लोगों की सुविधा के लिए किराया भी किफायती ही रखा जाएगा। लोकल मेट्रो ट्रेनों से भी इनकी कनेक्टिविटी बनाई जाएगी, जिससे स्टेशन से उतरने वाले यात्री शहरों में चलने वाली मेट्रो तक पहुंच सके।
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